Sunday, 18 May 2014

बॉस की तल्ख़ सी बातों पर
मैं जब बेवजह मुस्कुराता हूँ
तुम याद आते हो...

शिकायत नहीं ख़ुद से
बस एक ख़्याल सा है
तुम्हारी बातों पर भी यूँ ही मुस्कुरा दिया होता
आज मुस्कुराने की एक वजह होती शायद!!!

Sunday, 4 May 2014

Friend-zoned

दोस्ती और मुहब्बत के बीच
बहुत धुंधली सी एक सरहद
मैं,
धुंध के बहाने से
जाने कब सरहद पार कर गया
तुम, मगर,
धुंध के ख़ौफ़ से
सरहद तक कभी आए ही नहीं!